दिल्ली: 27 अगस्त, 2023 मन की बात में PM नरेंद्र मोदी ने कहा है कि मिशन चंद्रयान नए भारत की भावना का प्रतीक बन गया है, जो किसी भी स्थिति में जीतना चाहता है और जीतना जानता है।
उन्होंने कहा, आज देश के सपने भी बड़े हैं और प्रयास भी बड़े हैं। आज आकाशवाणी पर अपने मन की बात कार्यक्रम में देश को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने चंद्रयान 3 के सफल मिशन की सराहना करते हुए कहा कि भारत ने इस महीने की 23 तारीख को साबित कर दिया है कि संकल्प के कुछ सूरज चंद्रमा पर भी उगते हैं।
श्री मोदी ने कहा मिशन चंद्रयान नारी शक्ति का उदाहरण है:
प्रधानमंत्री ने महिला नेतृत्व वाले विकास पर जोर देते हुए कहा कि जहां नारी शक्ति का सामर्थ्य जुड़ जाता है, वहां असंभव को भी संभव बनाया जा सकता है।
श्री मोदी ने इस बात पर प्रकाश डाला कि मिशन चंद्रयान भी नारी शक्ति का एक जीवंत उदाहरण है क्योंकि इस मिशन में कई महिला वैज्ञानिक और इंजीनियर सीधे तौर पर शामिल हैं।
श्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि जब किसी देश की बेटियां इतनी महत्वाकांक्षी हो जाएं तो उस देश को विकसित बनने से कोई नहीं रोक सकता।
उन्होंने चंद्रयान 3 की सफलता में अन्य क्षेत्रों के योगदान की भी सराहना करते हुए कहा कि इस मिशन की सफलता में कई देशवासियों ने योगदान दिया है।
उन्होंने कामना की कि सभी के सामूहिक प्रयासों से देश का अंतरिक्ष क्षेत्र भविष्य में असंख्य सफलताएं हासिल करेगा।
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शिखर सम्मेलन के बारे में क्या कहा:
अगले महीने की 9 और 10 तारीख को नई दिल्ली में आयोजित होने वाले जी20 नेताओं के शिखर सम्मेलन के बारे में बोलते हुए, प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी कहा, भारत समिट के लिए पूरी तरह तैयार है।
उन्होंने बताया कि इस कार्यक्रम में 40 देशों और कई वैश्विक संगठनों के प्रमुख भाग लेंगे जो जी20 शिखर सम्मेलन के इतिहास में अब तक की सबसे बड़ी भागीदारी होगी।
उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि भारत ने अपनी अध्यक्षता के दौरान जी20 को अधिक समावेशी मंच बनाया है क्योंकि अफ्रीकी संघ भी इस मंच में शामिल हुआ और अफ्रीका के लोगों की आवाज दुनिया तक पहुंची।
जी20 आयोजनों की सफलता के बारे में बात करते हुए, प्रधान मंत्री ने कहा कि भारत की विविधता और इसके जीवंत लोकतंत्र को देखकर प्रतिनिधि बहुत प्रभावित हुए। भारत की जी20 अध्यक्षता को पीपुल्स प्रेसीडेंसी बताते हुए श्री मोदी ने कहा, इसमें जनभागीदारी की भावना है।
उन्होंने कहा, देशभर में आयोजित होने वाले कार्यक्रमों से एक करोड़ 50 लाख से ज्यादा लोग जुड़े हुए हैं।
साड़ी वॉकथॉन की सफलता:
श्री मोदी ने वाराणसी में आयोजित जी20 क्विज़ और सूरत में साड़ी वॉकथॉन की सफलता पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि कश्मीर में आयोजित जी20 बैठक के बाद पर्यटकों की संख्या में भारी वृद्धि देखी जा रही है।
उन्होंने जी20 शिखर सम्मेलन को सफल बनाने के लिए सभी देशवासियों से एकजुट होने का आग्रह किया।
युवा पीढ़ी पर फोकस:
प्रधानमंत्री ने देश की युवा पीढ़ी की क्षमता पर प्रकाश डालते हुए खेलों में युवाओं द्वारा हासिल की गई सफलता का उल्लेख किया। चीन में विश्व विश्वविद्यालय खेलों के दौरान देश के एथलीटों द्वारा हासिल की गई सफलता के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा, भारत ने खेलों में 11 स्वर्ण पदक सहित 26 पदक जीतकर अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया।
प्रधान मंत्री ने कुछ पदक विजेताओं से बात की। वर्ल्ड यूनिवर्सिटी गेम्स से फोन पर बात की और उन्हें उनकी सफलता के लिए बधाई दी। तीरंदाजी में पदक जीतने वाली उत्तर प्रदेश की रहने वाली प्रगति से बात करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा, आप लोगों ने भारत का नाम रोशन किया है।
प्रधानमंत्री के साथ अपनी बातचीत में प्रगति ने कहा:
वह बहुत गौरवान्वित महसूस कर रही हैं। श्री मोदी ने असम के निवासी अमलान से भी बात की, जिन्होंने एथलेटिक्स में अपनी रुचि साझा की। मन की बात कार्यक्रम में अपने संबोधन में, प्रधान मंत्री मोदी ने भी बात की।
हर घर तिरंगा अभियान को हर मन तिरंगा अभियान में बदलने के लिए सभी देशवासियों के सामूहिक प्रयासों के बारे में। उन्होंने कहा, इस अभियान के दौरान कई रिकॉर्ड बने क्योंकि देशवासियों ने करोड़ों तिरंगे खरीदे।
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मेरी माटी, मेरा देश अभियान:
उन्होंने कहा, इस बार देशवासियों ने तिरंगे के साथ सेल्फी पोस्ट करने में नया रिकॉर्ड बनाया है। प्रधानमंत्री ने मेरी माटी, मेरा देश अभियान के बारे में भी बात की।
उन्होंने कहा, अगले महीने देश के हर गांव में हर घर से मिट्टी इकट्ठा करने का अभियान चलेगा और देश की पवित्र मिट्टी को हजारों अमृत कलश कलशों में जमा किया जाएगा।
उन्होंने कहा, इसी मिट्टी से दिल्ली में अमृत वाटिका बनाई जाएगी। अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने विश्व संस्कृत दिवस की शुभकामनाएं भी दीं।
उन्होंने कहा, इस बार उन्हें संस्कृत भाषा में कई पत्र मिले और इसका कारण यह है कि सावन माह की पूर्णिमा को विश्व संस्कृत दिवस मनाया जा रहा है, श्री मोदी ने संस्कृत को कई आधुनिक भाषाओं की जननी बताते हुए कहा। भारत का प्राचीन ज्ञान हजारों वर्षों से इस भाषा में संरक्षित है और लोग अब संस्कृत सीख रहे हैं।
प्रधान मंत्री मोदी ने तेलुगु दिवस के अवसर पर भी लोगों को बधाई दी जो इस महीने की 29 तारीख को मनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि तेलुगु साहित्य और भाषा में भारतीय संस्कृति के कई अनमोल रत्न छिपे हुए हैं।
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